राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने कहा कि वर्तमान में भारत की सुरक्षा चिंताएं क्षेत्रीय अखंडता के संरक्षण से कहीं आगे तक फैली हुई हैं और इसमें अर्थव्यवस्था, पर्यावरण, ऊर्जा और साइबर सुरक्षा से निपटने वाले कल्याण के कई आयाम शामिल हैं। जिस तरह से वैश्विक घटनाएं सामने आ रही हैं, उसके चलते हमें किसी भी तरह की स्थिति और संकट से निपटने के लिए विश्व स्तर पर सक्षम और आत्मनिर्भर होने के महत्व को समझना होगा और इस दिशा में तेजी से प्रयास करने होंगे।
क्या कुछ बोलीं द्रौपदी मुर्मु?
बुधवार को 63वें राष्ट्रीय रक्षा कालेज (NDC) कोर्स के फेकल्टी सदस्यों और कोर्स करने वालों को संबोधित करते हुए मुर्मु ने कहा कि तेजी से बदलते भू-राजनीतिक माहौल में हमें विपरीत परिस्थितियों से निपटने के लिए अच्छी तरीके से तैयार रहने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि भू-राजनीतिक गतिशीलता ने अब सुरक्षा परिदृश्य को बदल दिया है। हमें न केवल अपने राष्ट्रीय हितों को सुरक्षित करना है, बल्कि जलवायु परिवर्तन, साइबर युद्ध, प्रौद्योगिकी आधारित आतंकवाद जैसी नई सुरक्षा चुनौतियों से निपटने के लिए भी तैयार रहना है।
President Droupadi Murmu met the faculty and course members of the 63rd Course of the NDC; emphasised the need to secure our national interests and to prepare for new security challenges like cyber warfare, technology enabled terrorism and climate change.https://t.co/nfc9i8wUV1 pic.twitter.com/hrw9RMdQj2
— President of India (@rashtrapatibhvn) October 4, 2023
उन्होंने कहा कि व्यापक शोध पर आधारित ज्ञान और अत्याधुनिक प्रौद्योगिकियों को लागू करने की जरूरत है। वर्तमान और भविष्य की चुनौतियों से निपटने को आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) के इनोवेटिव एप्लिकेशंस का पता लगाने की जरूरत है। असल में सरकारी एजेंसियों और कारपोरेट क्षेत्र को इन चुनौतियों की पहचान करने और उनसे निपटने के लिए हाथ मिलाने की आवश्यकता है।
NDC पाठ्यक्रम
राष्ट्रपति ने कहा कि एनडीसी पाठ्यक्रम भविष्य के जटिल सुरक्षा माहौल से व्यापक तरीके से निपटने के लिए सैन्य और सिविल सेवा अधिकारियों को तैयार करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। एनडीसी पाठ्यक्रम अपनी तरह का अनूठा पाठ्यक्रम है जिसमें शासन, प्रौद्योगिकी, इतिहास और अर्थशास्त्र के साथ-साथ राष्ट्रीय सुरक्षा और रणनीति के क्षेत्र शामिल हैं।