एक साल में दो हायपरसोनिक मिसाइल पेश करके ईरान ने दुनिया में सनसनी फैला दी है. जून 2023 में फतह-1 और अब फतह-2. दोनों ही मिसाइलों को लेकर ईरान के दावे ही सामने आए हैं. ईरान ने इन्हें अभी तक अपनी सेना का हिस्सा नहीं बनाया है. सबसे ज्यादा चर्चा है फतह-2 की. दावा किया गया है कि यह अमेरिका और इजराइल के सबसे एडवांस एंटी बैलिस्टिक मिसाइल सिस्टम को भी भेद सकती है.
हाल में ईरान ने तेहरान में इस्लामिक रिवोल्यूशन गार्ड्स कॉर्प्स एयरोस्पेस फोर्स की प्रदर्शनी में इसे पेश किया. जानिए यह कितनी पावरफुल है.
1400 किलोमीटर की रेंज में करेगी हमला
ईरान का दावा है कि उसकी मिसाइल फतह-2 जैसी दुनिया में किसी के पास नहीं है. सच क्या है, यह तो ईरान ही जानें लेकिन अगर दावों पर भरोसा किया जाए तो दुनिया एक अलग ही विध्वंशक दिशा में जाने को तैयार दिखाई दे रही है. यह अमेरिका और इजराइल के एडवांस एंटी बैलिस्टिक मिसाइल सिस्टम को भी भेद सकती है. यह 1400 किलोमीटर की रेंज तक मार कर सकती है.
5.1 KM प्रति सेकंड की स्पीड से करती है मार
यह 5.1 किलो मीटर प्रति सेकंड की गति से वार कर सकती है. जब फतह-2 को पेश किया गया तो ईरान के सर्वोच्च नेता खुमैनी खुद सामने आए. उन्होंने मिसाइल प्रोग्राम पर बहुत कम, इजराइल-हमास युद्ध पर ज्यादा बोला. इजरायल को हारा हुआ घोषित कर दिया. युद्ध दोषी मान लिया.
हथियारों की प्रदर्शनी के दौरान ईरान के सर्वोच्च नेता खुमैनी.
7 मिनट में इजराइल को तबाह कर सकती है
अल जजीरा के मुताबिक रूस, चीन और अमेरिका के पास यह प्रणाली है लेकिन अमेरिका अभी चीन-रूस से इस मामले में थोड़ा पीछे है. ईरान ने प्रदर्शन के दौरान पश्चिमी देशों के शक का जवाब इस रूप में दिया है कि जब इसका इस्तेमाल होगा तो सारे के सारे शक भरोसे में बदल जाएंगे.
ईरानी सुरक्षा अफसरों के हवाले से अलजजीरा ने कहा है कि यह नया हथियार 7 मिनट में इजराइल में लक्ष्य को भेदने में सक्षम है.
क्या है हायपरसोनिक मिसाइल का मतलब?
ये ऐसी मिसाइल होती हैं जो आवाज की गति से पांच गुणा गति से आगे बढ़ सकती है. मतलब यह हुआ कि इसकी स्पीड 1.7 किलो मीटर प्रति सेकंड या 6174 किलो मीटर प्रति घंटा से कहीं ज्यादा 24700 किलो मीटर प्रति घंटे तक हो सकती है.
इसका मतलब यह भी हुआ कि यह रडार या किसी भी डिफेंस कवच की पकड़ में नहीं आ पाएगी. इनका पता लगाना कठिन है. रडार इन्हें तब तक नहीं पकड़ सकते, जब तक ये जमीन के बहुत करीब नहीं आ जाते और जब तक वे संकेत देंगे तब तक ये अपना काम कर चुके होंगे.
ये बैलेस्टिक मिसाइल से कितना अलग?
ऐसे में हायपर सोनिक मिसाइल के हमले से खुद को बचाना किसी भी देश के लिए एकदम आसान नहीं होगा. इसकी स्पीड इसे बैलेस्टिक मिसाइल से अलग करती है. आगे ले जाती है. इनका निशाना सटीक होगा. लक्ष्य को भेदने में ये मिसाइलें बैलेस्टिक से भी ज्यादा सक्षम होंगी. इसमें हायपर सोनिक गाइड वेहिकल का इस्तेमाल किया गया है, जो स्पीड को बढ़ाने में मददगार साबित होने वाला है.
हायपर सोनिक उड़ान की गति में से एक है. उड़ान को चार अलग-अलग तरीके से संदर्भित किया जाता है. सब सोनिक, ट्रांसोनिक, सुपर सोनिक और हायपर सोनिक. ये सब स्पीड के अलग-अलग मापक हैं.
- समुद्र तल पर ध्वनि की गति 1236 किलो मीटर प्रति घंटा है.
- जल में ध्वनि की गति 1500 मीटर प्रति सेकंड है जबकि साफ पानी में यही स्पीड 1436 मीटर प्रति सेकंड है.
- इस्पात में ध्वनि का वेग 5148 मीटर प्रति सेकंड है.
- वैक्यूम में ध्वनि की गति शून्य है.