बीरभूम जिले के एक कोयला खदान में एक भीषण धमाके के कारण 7 मजदूरों की मौत हो गई है। इस घटना के बारे में अभी तक कोई स्पष्ट जानकारी नहीं मिल पाई है कि धमाका किस कारण से हुआ है। स्थानीय प्रशासन और आपातकालीन सेवाएं घटनास्थल पर पहुंच गई हैं और राहत बचाव कार्य जारी है। कई लोगों के मलबे में फंसे होने की संभावना है, जिसके चलते राहत और बचाव कार्य को प्राथमिकता दी जा रही है। इस घटना के संबंध में स्थानीय अधिकारियों ने कहा है कि वे संभावित कारणों की जांच कर रहे हैं। खदान में काम कर रहे श्रमिकों के परिजनों को इस हादसे के बारे में सूचित किया गया है।
वादुलिया खदान में हुआ विस्फोट
जानकारी के मुताबिक बीरभूम के वादुलिया कोयला खदान में सोमवार को विस्फोट हुआ। इस घटना में कम से कम सात मजदूरों की मौत हो गई और कई अन्य मजदूर घायल हो गये। सभी घायल मजदूरों को तत्काल अस्पताल ले जाया गया और उनकी जान बचाने की कोशिश की जा रही है।
घटना बीरभूम के खोराशोल ब्लॉक के लोकपुर थाना अंतर्गत वादुलिया गांव की है। वादुलिया में गंगारामचक माइनिंग प्राइवेट लिमिटेड कोलियरी (जीएमपीएल) में सोमवार को कोयला क्रशिंग के दौरान विस्फोट हो गया। स्थानीय सूत्रों के मुताबिक, विस्फोट इतना जोरदार था कि मजदूरों के शव टुकड़े-टुकड़े में बिखर गए हैं। प्रारंभिक तौर पर माना जा रहा है कि कोयला खदान में विस्फोट असावधानी के कारण हुआ है।सूचना पाकर पुलिस की टीम मौके पर पहुंची है घायलों को रेस्क्यू कर सदर अस्पताल पहुंचाया गया है।
क्या विस्फोट दुर्घटनावश हुआ?
खोइराशोल की यह खदान पीडीसीएल द्वारा लीज पर ली गयी है और यह राज्य सरकार के अधीन खदान है। कोयला निकालने के लिए ब्लास्टिंग के दौरान यह क्यों नहीं देखा गया कि अंदर कोई था या नहीं? इस घटना का कौन जिम्मेदार है? ये सवाल उठ रहे हैं। हालांकि, खनन प्राधिकार के अधिकारियों के क्षेत्र से चले जाने से और भी संदेहास्पद स्थिति पैदा हो गयी है। लेकिन क्या इस धमाके के पीछे कोई साजिश है? पुलिस ने जांच शुरू कर दी है। कुछ दिन पहले बीरभूम में एक खदान ढहने से तीन मजदूरों की मौत हो गई थी, वहीं इस बार विस्फोट में 7 लोगों की मौत हो गई।