उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार द्वारा नेपाल सीमा से लगे जिलों में चलाए जा रहे अवैध अतिक्रमण विरोधी अभियान को दर्शाता है। यह अभियान राज्य की सुरक्षा, सामाजिक संतुलन और कानून व्यवस्था को मजबूत करने की दिशा में उठाया गया एक बड़ा कदम माना जा रहा है।
मुख्य बिंदु इस अभियान के:
- नेपाल सीमा से 15 किमी तक का क्षेत्र चिन्हित:
- सभी अवैध मदरसों, मजहबी स्थलों और अतिक्रमणों की पहचान की जा रही है।
- जिन संस्थानों को पूर्व में नोटिस दिया गया था, लेकिन कब्जा नहीं हटाया गया — उन पर बुलडोजर कार्रवाई की जा रही है।
- प्रमुख जिलों में कार्रवाई की स्थिति:
जिला | सील किए गए मदरसे | खाली कराए गए स्थल | अन्य कार्रवाई |
---|---|---|---|
श्रावस्ती | 68 | 164 | 1 मजहबी स्थल गिराया गया |
बलरामपुर | 16 | — | 18 मजहबी स्थल चिन्हित, ईदगाह पर कार्रवाई |
सिद्धार्थनगर | — | — | 17 मदरसे, 4 स्थल चिन्हित |
बहराइच | 6 | — | 384 मामलों की पहचान |
महाराजगंज | — | — | 34 मदरसों को नोटिस, 2 पर बुलडोजर |
पीलीभीत | — | — | 7 मदरसे नोटिस, 77 स्थल चिन्हित |
कार्रवाई का उद्देश्य:
- सीमा सुरक्षा: सीमावर्ती क्षेत्रों में किसी भी प्रकार की अवैध गतिविधियों या घुसपैठ को रोकना।
- डेमोग्राफिक संतुलन: तेजी से बदली जा रही जनसंख्या संरचना (Demography) पर रोक।
- भूमि कानूनों का पालन: सरकारी या ग्राम समाज की भूमि पर अवैध कब्जा हटाना।
पृष्ठभूमि और मीडिया रिपोर्टिंग:
- कई गैर-पंजीकृत मदरसों की गतिविधियों पर पहले से सवाल उठते रहे हैं, खासकर सीमावर्ती इलाकों में।
- ऑपइंडिया और अन्य कुछ मीडिया रिपोर्ट्स ने स्थानीय डेमोग्राफिक बदलाव और अवैध निर्माण पर विस्तृत ग्राउंड रिपोर्टिंग की थी।
- अब इस मुद्दे पर सरकार की कार्रवाई ज़मीनी स्तर पर दिखने लगी है।