मयुरभंज जिले के एक गांव में ईसाई मिशनरियों द्वारा कनवर्जन के प्रयास के साथ साथ हिन्दू देवी-देवताओं पर अपमानजनक टिप्पणी किये जाने तथा पहलगाम आतंकवादी हमले को लेकर भारत को जिम्मेदार बताये जाने के बाद रोष व्याप्त है। मुंडा जनजाति के नाराज ग्रामीणों ने इस संबंध में करंजिया थाने में लिखित शिकायत दर्ज कराई है। ग्रामीणों ने इस मामले में शामिल सभी पादरियों और अन्य लोगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की है। करंजिया पुलिस ने तीन पादरियों के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया है और जांच कर रही है। ओडिशा का मयुरभंज जिला जनजाति बहुल होने के कारण हमेशा से ही ईसाई मिशनरियों के निशाने पर रहा है। जिले के करंजिया थाना क्षेत्र के बडदेउली पंचायत के शरधा गांव के मुंडा साही में ईसाई पादरियों द्वारा एक मजहबी सभा का आयोजन किया गया था। इस सभा में देवी देवताओं के खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणियां की गई । इसके साथ साथ वक्ताओं ने पहलगाम आतंकवादी हमले के मामले में पाकिस्तान का समर्थन किया तथा इस हमले के पीछे भारत के हाथ होने की बात कही। इस तरह की बातें सुन कर गांव के अन्य लोगों में तनाव देखा गया।
गांव के मुंडा साही के ग्रामीणों ने इस बारे में करंजिया पुलिस के समक्ष लिखित में शिकायत कर कार्रवाई की मांग की है। ग्रामीणों द्वारा दिये गये लिखित शिकायत में कहा गया है कि 19 मई को उनके गांवों में ईसाई मिशनरी आये थे। उसके बाद उन्होंने आपत्तिजनक टिप्पणियां जिसमें देश विरोधी टिप्पणी भी की। इन लोगों ने पहलगाम हमले के लिए भारत को विशेष कर सरकार को जिम्मेदार ठहराया। इन लोगों ने कहा कि भारत सरकार ने ही पहलगाम में आतंकवादी कार्रवाई करायी। ग्रामीणों ने लिखित शिकायत में और कहा है कि ईसाई पास्टर अपने भाषणों में हिन्दू देवी- देवताओं, हिन्दू परंपरा के खिलाफ अनाप शनाप कर रहे थे। हिन्दू देवी-देवताओं के खिलाफ अपशब्द कहने के साथ साथ इसाईयत में कनवर्ट होने के लिए वे प्रेरित कर रहे थे। ये लोग माइक के जरिये भाषण करने के कारण उनके लिए इस तरह के देश विरोधी व अपने संस्कृति विरोधी बातें सुन कर सहन करना कठिन हो रहा है।
अपने लिखित शिकायत में ग्रामीणों ने कहा है कि इस कार्यक्रम में ये बाहर से ईसाई पास्टर पहुंचे थे। इनमें पास्टर पात्रस गुणुआ, बाबुनी मुंडा और प्रदीप मुंडा शामिल हैं। इस समूह द्वारा दिये गये भाषण व गतिविधियां पूरी तरहे से भडकाउ व आपत्तिजनक थे। गांव की सार्वजनिक शांति को बाधित करना व गांव में वैमनस्य का भाव निर्माण करना इन लोगों का उद्देश्य है। यदि इस पर कार्रवाई नहीं की गई तो इसे कानून व्यवस्था की स्थिति बिगडने का अंदेशा है। ग्रामीणों ने अपने लिखित शिकायत में कहा है कि देश के विरोध में बातें करने तथा गांव व समाज की शांति व सदभाव को तोड कर सांप्रदायिक माहौल खराब करने वाले इन व्यक्तियों के खिलाफ कडी कार्रवाई की जाए। ग्रामीणों के इस लिखित शिकायत के बाद करंजिया पुलिस ने मामले की गंभीरता को देखते हुए पास्टर पात्रस गुणुआ, बाबुनी मुंडा और प्रदीप मुंडा के खिलाफ केस नंबर 171/25 के तहत मामला दर्ज कर लिया है। पुलिस मामले की जांच में जुटी है।