आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में असम पुलिस को बड़ी कामयाबी मिली है. असम पुलिस की स्पेशल टास्क फोर्स ने 8 संदिग्ध आतंकियों को गिरफ्तार किया है. गिरफ्तार किए गए सभी संदिग्ध अंसारुल्लाह बांग्ला टीम (ABT) के सदस्य हैं, जो आतंकवादी संगठन अल-कायदा का सहयोगी है. गिरफ्तार किए गए सभी आठ आतंकियों को अदालत में पेश किया गया. जहां से उन्हें 10 दिनों की पुलिस हिरासत में भेज दिया गया.
असम पुलिस को इनके पास से पेन ड्राइव और आपत्तिजनक दस्तावेज बरामद हुए हैं. पुलिस इनसे जब्त किए गए दस्तावेजों की जांच कर रही है.
‘आपरेशन प्रघात’ के तहत की कार्रवाई
पुलिस अधिकारी ने बताया कि असम पुलिस की एसटीएफ ने खुफिया जानकारी के आधार पर “आपरेशन प्रघात” चलाया था. इसके तहत बांग्लादेश के राजशाही निवासी बांग्लादेशी मुहम्मद साद रदी उर्फ मोहम्मद शब शेख को केरल से गिरफ्तार किया.
अधिकारी ने बताया कि इन आतंकियों का नेटवर्क देश भर फैला हुआ है. ये स्लीपर सेल शामिल थे, कथित तौर पर भर्ती, भारत में हिंसा भड़काने और सांप्रदायिक सद्भाव को बिगाड़ने की योजना में लगे हुए थे.
#WATCH | Guwahati, Assam: The Special Task Force (STF) of Assam Police arrested 8 members of Ansarullah Bangla Team (ABT), an affiliate of the terrorist organisation 'Al-Qaeda in the Indian Subcontinent' (AQIS). The arrested persons were produced before the court.
(Source: STF,… pic.twitter.com/iFRm8ix7me
— ANI (@ANI) December 20, 2024
अलग-अलग राज्यों से लिया गए हिरासत में
पुलिस ने जानकारी में बताया किदो व्यक्तियों, मिनारुल शेख और मोहम्मद अब्बास अली को पश्चिम बंगाल में गिरफ्तार किया गया. जबकि नूर इस्लाम मंडल, अब्दुल करीम मंडल, मोजिबर रहमान, हमीदुल इस्लाम और इनामुल हक सहित शेष संदिग्धों को असम में हिरासत में लिया गया.
छापे के दौरान कई आपत्तिजनक सामग्री जब्त की गई हैं. जिनमें मोबाइल फोन, पेन ड्राइव, धार्मिक ग्रंथ और विदेशी देश से जुड़े आधिकारिक दस्तावेज शामिल हैं.
स्लीपर सेल स्थापित करना चाहते थे आतंकी
स्पेशल डीजीपी हरमनप्रीत सिंह ने बताया कि शुरुवाती जांच में पता चला है कि गिरफ्तार किए गए व्यक्ति चरमपंथी विचारधाराओं का प्रचार करते थे. इसके अलावा लोगों की भर्ती के लिए ये असम और पश्चिम बंगाल में स्लीपर सेल स्थापित करने के लिए काम कर रहे थे.
अधिकारियों ने नूर इस्लाम मंडल नेटवर्क में एक प्रमुख व्यक्ति के रूप में पहचाना है. जिसका 2015 तक आतंकी गतिविधियों का रिकॉर्ड रहा है. उस पर सांप्रदायिक हिंसा भड़काने और आतंकी संगठनों को जगह उपलब्ध कराने का आरोप है.