असम के गोलाघाट जिले में हाल ही में हुआ ट्रिपल मर्डर केस ‘लव जिहाद’ का नतीजा था। मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने बुधवार को यह टिप्पणी की। साथ ही उन्होंने दावा किया कि दोषी पर फास्ट ट्रैक में मुकदमा चलाने के लिए 15 दिनों के भीतर आरोपपत्र दायर किया जाएगा।
क्या है पूरा मामला?
गोलाघाट जिले में एक शख्स ने अपनी पत्नी और उसके माता-पिता की हत्या कर दी। आरोपी की पहचान 25 वर्षीय नाजीबुर रहमान बोरा के रूप में हुई है। हालांकि, आरोपी ने आत्मसमर्पण कर दिया है।
क्या कुछ बोले मुख्यमंत्री?
मुख्यमंत्री हिमंत ने मृतकों के परिजनों से मुलाकात की और उन्हें आश्वासन दिया कि मामले में गहन जांच की जाएगी और दोषी को बख्शा नहीं जाएगा। उन्होंने कहा, – “मृतक परिवार हिंदू था और आरोपी मुस्लिम समुदाय से है। आरोपी ने सबसे पहले फेसबुक पर अपना परिचय हिंदू नाम से दिया था… जब दंपति कोलकाता भाग गए थे तब महिला ड्रग्स का इस्तेमाल करना सीख गई।”
पहले भी जेल जा चुका है आरोपी
उन्होंने बताया कि प्राप्त जानकारी के मुताबिक, आरोपी, जो एक मैकेनिकल इंजीनियर है, नशे का आदी थी और प्रतिबंधित पदार्थों की तस्करी में शामिल था। उन्होंने दावा किया, – “महिला को नशीली दवाएं दी गईं जिसके प्रभाव से वह गर्भवती हो गई। जब वह आरोपी के घर रहने गई और बाद में अपने मायके लौट आई तो उसे प्रताड़ित किया गया। मुख्यमंत्री ने कहा कि महिला ने प्रताड़ना का आरोप लगाते हुए शिकायत दर्ज कराई थी और उसके पति को जेल भी हो गई थी।”
मुख्यमंत्री ने कहा कि मैं व्यक्तिगत रूप से ऐसे मामले को लेकर चिंतित हूं जिसमें एक महिला को शादी के लिए मनाने के लिए फेसबुक पर धार्मिक पहचान छिपाई जाती है और अंत में ऐसी स्थिति पैदा कर दी जाती है कि वह वापस नहीं लौट सकती। अगर वह लौट भी गई तो समाज उसे स्वीकार नहीं करेगा।
ट्रिपर मर्डर मामले में होगी सख्त कार्रवाई
उन्होंने कहा कि ऐसी स्थिति में वह अंतत: अपना धर्म परिवर्तन कर लेती है, सबकुछ त्याग देती है और एक अलग जीवन अपना लेती है। उन्होंने कहा कि इस मामले की गहन जांच की जाएगी और मुझे उम्मीद है कि उसके बाद और भी जानकारियां सामने आएंगी… हम यथासंभव सख्त कार्रवाई करेंगे और किसी को भी बख्शा नहीं जाएगा।