गुरुवार को केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने आम आदमी पार्टी और कांग्रेस के गठबंधन पर तीखा हमला बोला। उन्होंने आरोप लगाया कि यह गठबंधन दिल्ली को लूटने का काम कर रहा है। मंत्री वैष्णव ने दिल्ली की जनता से अपील की कि वे तय करें कि क्या अरविंद केजरीवाल और कांग्रेस का यह ‘ठगबंधन’ राजधानी को एक विश्वस्तरीय शहर बनाने के लिए सक्षम है।
केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कहा कि आप और अरविंद केजरीवाल ने जिस तरह से दिल्ली में अराजकता फैलाई है, उससे लोग प्रभावित हैं। उन्होंने (आप) झूठे वादे किए हैं। वह दिल्ली के लिए पानी की व्यवस्था नहीं कर सके और शराब पर ध्यान केंद्रित करते रहे। उन्होंने जिस तरह का घोटाला किया, उसमें कांग्रेस भी शामिल रही है। ईडी ने सभी तथ्यों के साथ चार्जशीट दायर की है और अदालत को सबूत दिए हैं। दिल्ली के लोगों को यह तय करने की जरूरत है कि क्या अरविंद केजरीवाल और कांग्रेस और आप का ‘ठगबंधन’ दिल्ली को विश्व स्तरीय शहर बनाने के लिए उपयुक्त है।
दिल्ली: केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कहा, "AAP और अरविंद केजरीवाल ने जिस तरह से दिल्ली में अराजकता फैलाई है, उससे लोग प्रभावित हैं। उन्होंने (AAP) झूठे वादे किए हैं। वह दिल्ली के लिए पानी की व्यवस्था नहीं कर सके और शराब पर ध्यान केंद्रित करते रहे। उन्होंने जिस तरह का घोटाला… pic.twitter.com/h29I2Ho18c
— ANI_HindiNews (@AHindinews) July 11, 2024
नई चार्जशीट दिल्ली एक्साइज पॉलिसी मामले से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग के आरोपों के संबंध में दायर की गई है। इसके अलावा, आरोप पत्र में केजरीवाल को सरगना और मुख्य साजिशकर्ता के रूप में भी उल्लेख किया गया है। आरोप पत्र के अनुसार, वह गोवा चुनाव में रिश्वत के पैसे के इस्तेमाल से अवगत थे और इसमें शामिल थे। ईडी की चार्जशीट में अरविंद केजरीवाल और आरोपी विनोद चौहान के बीच हुई व्हाट्सएप चैट का ब्यौरा दिया गया है। आरोप है कि के कविता के पीए ने गोवा चुनाव के दौरान विनोद के माध्यम से आम आदमी पार्टी (आप) को 25 करोड़ रुपये से अधिक भेजे थे। चैट से साफ है कि विनोद चौहान के अरविंद केजरीवाल से अच्छे संबंध थे।
दिल्ली उच्च न्यायालय ने कथित उत्पाद शुल्क घोटाले से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को दी गई जमानत को चुनौती देने वाली प्रवर्तन निदेशालय की याचिका को 15 जुलाई के लिए सूचीबद्ध कर दिया। उच्च न्यायालय ने पहले निचली अदालत के 20 जून के आदेश पर रोक लगा दी थी जिसके द्वारा केजरीवाल को मामले में जमानत दी गई थी।