प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने ऑनलाइन सट्टेबाजी और अवैध क्रिकेट मैच प्रसारण से जुड़े मामलों में दिल्ली, मुंबई और पुणे में 21 ठिकानों पर छापेमारी की। यह कार्रवाई 10 और 12 दिसंबर को की गई और इसे प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट (PMLA) के तहत अंजाम दिया गया।
मुख्य बिंदु
- कार्रवाई का उद्देश्य
- अवैध क्रिकेट मैचों के प्रसारण और ऑनलाइन सट्टेबाजी के जरिए हो रहे धन शोधन (Money Laundering) की जांच।
- जांच के दौरान जब्त की गई सामग्री
- 30 लाख रुपये की बैंक राशि फ्रीज की गई।
- आपत्तिजनक दस्तावेज और डिजिटल उपकरण जब्त किए गए।
- जांच का फोकस
- सट्टेबाजी नेटवर्क के मनी ट्रेल की जानकारी इकट्ठा करना।
- इसके माध्यम से शामिल लोगों की पहचान और जिम्मेदार आपराधिक नेटवर्क को बेनकाब करना।
अवैध ऑनलाइन सट्टेबाजी की समस्या
- डिजिटल माध्यम का दुरुपयोग कर अवैध गतिविधियों को अंजाम दिया जा रहा है।
- ऑनलाइन सट्टेबाजी से आर्थिक नुकसान, टैक्स चोरी और मनी लॉन्ड्रिंग के मामले बढ़ते जा रहे हैं।
- क्रिकेट और अन्य खेलों के नाम पर फर्जी प्लेटफॉर्म के जरिए सट्टेबाजी को बढ़ावा दिया जा रहा है।
ईडी की भूमिका
- प्रवर्तन निदेशालय का मुख्य कार्य मनी लॉन्ड्रिंग से जुड़े मामलों की जांच करना।
- PMLA के तहत अवैध धन के प्रवाह को रोकने और जिम्मेदारों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करना।
ईडी सट्टेबाजी मामले में की रेड
ईडी ने ये जांच अहमदाबाद साइबर क्राइम पुलिस द्वारा ऑनलाइन बेटिंग ऐप मैजिकविन और अन्य के खिलाफ दर्ज एफआईआर के आधार पर शुरू की थी। जांच में सामने आया कि “मैजिकविन” एक सट्टेबाजी से जुड़ी वेबसाइट है, जिसे गेमिंग वेबसाइट के रूप में दिखाया गया है। हैरानी की बात ये है कि इस गेमिंग ऐप को पाकिस्तानी नागरिकों द्वारा तैयार किया गया था और इसका संचालन दुबई में बैठे कुछ भारतीय नागरिकों द्वारा किया जा रहा था। जांच में पता चला कि इस वेबसाइट पर दिखाए गए सट्टेबाजी वाले गेम फिलीपींस और अन्य देशों में खेले जाते हैं, जहां सट्टेबाजी वैध है। इन गेम्स के एपीआई (API) को कॉपी कर, मैजिकविन पर फिर से प्रसारित किया जाता है।
पाकिस्तान से ऑपरेट होता है ऐप
बता दें कि वेबसाइट पर होने वाले सट्टे, पैसे जमा करना, पैसे निकालना और सट्टेबाजी को ऑपरेट करना सब कुछ पाकिस्तान में बैठे इस ऐप के मालिकों द्वारा किया जा रहा था। ईडी की जांच में यह भी खुलासा हुआ कि खिलाड़ियों और सट्टेबाजों द्वारा वेबसाइट पर जमा किए गए पैसे को अलग-अलग शेल कंपनियों और फर्जी बैंक खातों के ज़रिए रूट किया गया है। ऐप के मालिकों ने पैसा पहले क्रिप्टो करेंसी में इन्वेस्ट किया फिर इनकैश और उसके बाद हवाला चैनल का इस्तेमाल कर पैसा दुबई ट्रांसफर किया। इसके अलावा सट्टेबाजी के विजेताओं की रकम को उनके बैंक खातों में शेल कंपनियों के पेमेंट गेटवे/एग्रीगेटर्स के ज़रिए ट्रांसफर किया जाता है।
बेटिंग ऐप की लॉन्च पार्टी
बता दें क खिलाड़ियों को पैसा डोमेस्टिक मनी ट्रांसफर (DMT) के जरिए भी भेजा गया है। जांच में यह भी पाया गया कि बेटिंग ऐप मैजिकविन ने भारत में एक लॉन्च पार्टी का आयोजन किया था, जिसमें कई बॉलीवुड सेलेब्रिटीज़ ने हिस्सा लिया और इसका प्रचार किया था। इन सेलेब्रिटीज ने मैजिकविन के लिए फोटो और वीडियो शूट किए और सोशल मीडिया पर इसके विज्ञापन भी पोस्ट किए। इसके अलावा, देश के कई हिस्सों में, विशेषकर गुजरात और महाराष्ट्र में, आउटडोर होर्डिंग्स के जरिए भी इस बेटिंग ऐप का प्रचार किया गया था। बता दें कि ईडी की अहमदाबाद ब्रांच ने अबतक इस मामले में 68 ठिकानों पर छापेमारी की है। इस मामले में अबतक कुल 3.55 करोड़ रुपये की संपत्तियों को जब्त किया गया है।