केरल की स्वास्थ्य मंत्री वीना जॉर्ज ने राज्य में निपाह वायरस को रोकने के लिए शनिवार को एक उच्च स्तरीय बैठक बुलाई। यह बैठक उत्तरी मलप्पुरम जिले में वायरस के संक्रमण के प्रकोप के मद्देनजर बुलाई गई थी। स्थानीय मीडिया रिपोर्टों के अनुसार, मलप्पुरम के एक युवक में निपाह के लक्षण होने का संदेह था और उसके नमूने विस्तृत वैज्ञानिक जांच के लिए एक केंद्रीय प्रयोगशाला में भेजे गए थे। जिसके बाद रिपोर्ट में वो संक्रमित पाया गया। उसका कोझिकोड के एक निजी अस्पताल में इलाज चल रहा है।
प्रोटोकॉल के अनुसार उठाए जाएंगे कदम
स्वास्थ्य मंत्री के कार्यालय के एक बयान के अनुसार, अंतिम परीक्षण के परिणाम अभी प्राप्त नहीं हुए हैं, लेकिन निपाह प्रोटोकॉल के अनुसार सभी जरूरी कदम उठाए जा रहे हैं। इसमें कहा गया है कि निपाह की रोकथाम के संबंध में सरकारी आदेश के अनुसार तैयार की गई मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) के अनुसार कार्रवाई का समन्वय किया जाएगा।
बयान में कहा गया है कि स्वास्थ्य मंत्री जल्द ही मलप्पुरम पहुंचेंगी और निपाह की रोकथाम गतिविधियों का नेतृत्व करेंगी। बैठक में स्वास्थ्य सचिव, राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के राज्य निदेशक, कोझीकोड और मलप्पुरम के जिला कलेक्टर और स्वास्थ्य निदेशक समेत कई उच्च अधिकारियों ने हिस्सा लिया।
'Nipah Virus' suspected: Kerala Health Minister Veena George convenes high-level meeting
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— ANI Digital (@ani_digital) July 20, 2024
राज्य में पहले भी फैल चुका है संक्रमण
राज्य सरकार ने हाल ही में घोषणा की थी कि निपाह प्रकोप की रोकथाम के लिए एक विशेष कार्य कैलेंडर तैयार किया जा रहा है, जो राज्य में पहले भी चार मौकों पर फैल चुका है। कोझीकोड जिले में 2018, 2021 और 2023 में और एर्नाकुलम जिले में 2019 में निपाह प्रकोप की सूचना मिली है और कोझीकोड, वायनाड, इडुक्की, मलप्पुरम और एर्नाकुलम जिलों में चमगादड़ों में निपाह वायरस एंटीबॉडी की मौजूदगी का पता चला है।