केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जगत प्रकाश नड्डा की अध्यक्षता में आयोजित यह बैठक देश में टीबी उन्मूलन को लेकर एक महत्वपूर्ण कदम है। इस वर्चुअल बैठक में सभी राज्यों के मुख्यमंत्रियों की भागीदारी से केंद्र और राज्यों के बीच टीबी मुक्त भारत अभियान को और अधिक प्रभावी बनाने की रणनीति पर चर्चा होगी।
बैठक के मुख्य उद्देश्य:
- टीबी मुक्त भारत अभियान की प्रगति पर चर्चा:
- 100 दिनों के सघन अभियान के तहत किए गए प्रयासों की समीक्षा की जाएगी।
- अभियान की सफलता और इसके प्रभाव का आकलन किया जाएगा।
- राज्यों से फीडबैक लेना:
- सभी राज्यों के मुख्यमंत्रियों से उनके राज्यों में चल रहे टीबी उन्मूलन कार्यक्रमों का विवरण लिया जाएगा।
- अभियान के दौरान सामने आई चुनौतियों और उनके समाधान पर चर्चा की जाएगी।
- आगे की रणनीति तैयार करना:
- राज्यों में टीबी उन्मूलन के लिए उठाए गए कदमों को और प्रभावी बनाने के सुझाव मांगे जाएंगे।
- केंद्र और राज्यों के बीच समन्वय बढ़ाने पर जोर दिया जाएगा।
- स्वास्थ्य मंत्रालय की जानकारी साझा करना:
- स्वास्थ्य मंत्रालय की ओर से टीबी मुक्त भारत अभियान के तहत किए गए प्रयासों और भविष्य की योजनाओं के बारे में जानकारी दी जाएगी।
- राज्यों को अभियान के लिए और अधिक तकनीकी और वित्तीय सहायता प्रदान करने की संभावनाओं पर चर्चा की जाएगी।
बैठक का महत्व:
- टीबी मुक्त भारत का लक्ष्य: भारत ने 2025 तक देश को टीबी मुक्त बनाने का लक्ष्य रखा है। यह बैठक उस दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
- राज्यों की भागीदारी: टीबी जैसी गंभीर बीमारी को जड़ से खत्म करने के लिए राज्यों की सक्रिय भूमिका आवश्यक है। यह बैठक इस दिशा में केंद्र और राज्यों के बीच बेहतर समन्वय स्थापित करेगी।
- सफल मॉडल्स को साझा करना: जो राज्य टीबी उन्मूलन में बेहतर प्रदर्शन कर रहे हैं, उनके मॉडल को अन्य राज्यों के साथ साझा किया जाएगा।
संभावित परिणाम:
- टीबी उन्मूलन के लिए अधिक समर्पित और प्रभावी रणनीतियाँ विकसित होंगी।
- केंद्र और राज्य सरकारों के बीच बेहतर समन्वय स्थापित होगा।
- राज्यों में चल रहे अभियानों को नई दिशा और गति मिलेगी।
- टीबी मुक्त भारत के लक्ष्य को हासिल करने की दिशा में एक बड़ा कदम होगा।
यह बैठक भारत के स्वास्थ्य क्षेत्र में टीबी जैसी गंभीर बीमारी के खिलाफ लड़ाई को मजबूत करने और इसे समाप्त करने के राष्ट्रीय संकल्प को दोहराती है।
केंद्र की तरफ से चलाया जा रहा अभियान
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जे.पी.नड्डा ने हरियाणा के पंचकूला में टीबी के मामलों और इसके कारण होने वाली मृत्यु दर को कम करने के लिए एक राष्ट्रव्यापी अभियान का उद्घाटन किया था. 100 दिवसीय टीबी उन्मूलन अभियान 33 राज्यों के 347 जिलों में चलाया जा रहा है. जहां इस बीमारी का प्रकोप अधिक है.
अभियान का उद्देश्य टीबी की पहचान को बढ़ाना, उसके इलाज में होने वाली देरी को कम करना और उपचार के परिणामों को बेहतर बनाना है. जेपी नड्डा ने कहा था हम इस कार्यक्रम के तहत पहचान, परीक्षण, उपचार और सहायक रणनीतियों को तेज गति से आगे बढ़ाएंगे.
क्या बीमारी है टीबी?
तपेदिक (टीबी) माइकोबैक्टीरियम ट्यूबरकुलोसिस के कारण होने वाला एक संक्रामक जीवाणु रोग है.टीबी आम तौर पर फेफड़ों (पल्मोनरी टीबी) को प्रभावित करता है, लेकिन अन्य भागों (एक्स्ट्रापल्मोनरी टीबी) को भी प्रभावित कर सकता है. टीबी हवा के जरिए से एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में फैलता है. जब टीबी संक्रमण से संक्रमित लोग खांसते, छींकते हैं या अन्यथा हवा के माध्यम से श्वसन तरल पदार्थ संचारित करते हैं.