आतंकवाद को शरण देने वाले पाकिस्तान में ओसामा बिन लादेन के सहयोगी अमीन उल हक को गिरफ्तार किया गया. अमीन 1996 से ओसामा बिन लादेन का करीबी सहयोगी था. वह अभी पाकिस्तान के पंजाब प्रांत में रहता था, जहां से शुक्रवार को उसे अरेस्ट किया गया. उसने ही पूरे प्रांत में तोड़फोड़ की योजना बनाई थी. वह पाकिस्तान में भी महत्वपूर्ण इलाकों और हस्तियों को निशाना बनाना चाहता था. पंजाब के काउंटर टेरिरिज्म डिपार्टमेंट ने यह कार्रवाई की है. टीम ने बताया कि ओसामा बिन लादेन के सहयोगी अमीन हक को एक खुफिया ऑपरेशन चलाते हुए पकड़ा है. एजेंसी ने दावा किया कि अमीन पाकिस्तान के गुजरात में हमले की की योजना बना रहा था.
संयुक्त राष्ट्र की अंतरराष्ट्रीय आतंकवादी सूची में भी शामिल
पुलिस प्रवक्ता ने बताया कि गिरफ्तार आतंकी हक के खिलाफ आतंक विरोधी टीम ने केस दर्ज किया है. उससे अभी पूछताछ की जा रही है. अमीन हक का नाम संयुक्त राष्ट्र की अंतरराष्ट्रीय आतंकवादी सूची में भी शामिल है. लादेन के साथ उसके लंबे समय तक जुड़ाव और अल कायदा में सक्रिय भूमिका रही है.
पाकिस्तान का झूठ आया सामने
इस घटना से पाकिस्तान का झूठ भी सामने आया है. पाकिस्तान ने आईएसआई, अल कायदा और तालिबान निगरानी टीम की रिपोर्ट 8 जुलाई को संयुक्त राष्ट्र में पेश की थी. इसमें बताया था कि अधिकारियों ने मार्च 2024 में अवैध रूप से हथियार रखने के आरोप में अमीन अल हक को गिरफ्तार किया. अब सवाल उठता है कि जब पाकिस्तान के अधिकारी पहले ही अमीन हक को पकड़ चुके थे तो हाल में क्यों उसकी गिरफ्तारी दिखाई गई. ऐसे में लगता है कि पाकिस्तान की एजेंसी संयुक्त राष्ट्र और दुनिया की आंखों में धोल झोंक रही हैं. पंजाब पुलिस का दावा है कि अमीन 1996 से ओसामा बिन लादेन से जुड़ा था और अल कायदा के अहम लड़ाकों में से एक रहा. वह कई आतंकवादी गतिविधियों में भी लादेन के वक्त में शामिल रहा.