प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने, खालिस्तानी आतंकवादी गुरपतवंत सिंह पन्नू की हत्या की कथित असफल साजिश के मुद्दे पर पहली बार बयान दिया है. प्रधानमंत्री ने कहा, ‘अगर हमारे किसी नागरिक ने कुछ भी अच्छा या बुरा किया है, तो हम उस पर गौर करने के लिए तैयार हैं. हमारी प्रतिबद्धता कानून के शासन के प्रति है.’
क्या है मामला?
बता दें अमेरिका में संघीय अभियोजकों ने आरोप लगाया है कि निखिल गुप्ता नाम के व्यक्ति ने एक भारतीय सरकारी अधिकारी के साथ मिलकर आतंकवादी गुरपतवंत सिंह पन्नू की हत्या की साजिश रची थी जो सफल नहीं हो पाई. पन्नू के पास अमेरिका तथा कनाडा की नागरिकता है.
भारत ने अमेरिकी धरती पर सिख अलगाववादी की हत्या की साजिश रचने के आरोपी व्यक्ति के साथ एक भारतीय अधिकारी को अमेरिका द्वारा जोड़े जाने को ‘चिंता का विषय’ बताया है. विदेश मंत्रालय ने कहा है कि आरोपों की जांच के लिए गठित समिति के निष्कर्षों के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी.
गुरपतवंत सिंह पन्नू को 1 जुलाई, 2020 को भारत सरकार द्वारा ‘नामित व्यक्तिगत आतंकवादी’ घोषित किया गया था. पन्नून 2019 से एनआईए की नजर में है जब आतंकवाद विरोधी एजेंसी ने उसके खिलाफ अपना पहला मामला दर्ज किया था.
पीएम मोदी ने और क्या कहा?
फाइनेंशियल टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक प्रधानमंत्री मोदी ने चरमपंथी गतिविधियों को लेकर अपनी चिंता जताई और कहा, भारत ‘विदेश में स्थित कुछ चरमपंथी समूहों की गतिविधियों के बारे में गहराई से चिंतित है.’ उन्होंने कहा, ‘अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता की आड़ में ये तत्व हिंसा, डराने-धमकाने और भड़काने में लगे हुए हैं. ‘
पीएम मोदी ने कहा, ‘मुझे नहीं लगता कि कुछ घटनाओं को दोनों देशों के राजनयिक संबंधों से जोड़ना उचित है.’