एक तरफ उत्तरकाशी के टनल में फंसे 40 मजदूरों को बचाने के लिए भगीरथ प्रयास जारी है, उधर, महाराष्ट्र के पुणे में भी दो किसान टनल में गिर गए हैं. यह दोनों किसान दूर नीरा और भीमा नदियों को जोड़ने के लिए बन रहे टनल में से सिचाई के लिए पानी निकालने का प्रयास कर रहे थे. बताया जा रहा है कि ये दोनों किसान करीब 300 मीटर की गहराई में गिरे हैं. सूचना मिलते ही शासन और प्रशासन में हड़कंप मच गया.
आनन फानन में उनकी तलाश के लिए बड़ी बड़ी क्रेन मशीनों को मंगाया गया. हालांकि अब तक इन किसानों का कोई सुराग नहीं मिला है. अधिकारियों के मुताबिक यह हादसा पुणे के इंदापुर तालुका में काझड़ गांव का है. यहां भादलवाड़ी और तावशी के बीच भीमा और नीरा नदी को आपस में जोड़ने के लिए टनल बनाया गया है. इस टनल में जल स्थिरी करण का काम चल रहा था. इस बीच टनल में आए पानी को यहां के किसान सिंचाई के लिए भी इस्तेमाल करते हैं.
इसी बीच दो किसान सिंचाई के लिए ही पाइप लगाने के लिए इस टनल में उतरे थे. इसी दौरान हाथ सरकने की वजह से उनका संतुलन बिगड़ गया और वह 300 मीटर की गहराई में चले गए. अधिकारियों के मुताबिक इस सुरंग का काम अभी पूरा नहीं हुआ है. इस लिए किसानों को टनल के पास नहीं आने के लिए कई बार कहा गया, बावजूद इसके टनल से पानी निकालकर यहां के किसान सिंचाई की जरूरत को पूरा करते हैं.
इसी उद्देश्य से दो किसान अनिल नरूटे और रतिलाल नरूटे भी टनल में उतरे थे. उन्हें अपने खेतों की सिंचाई के लिए टनल के अंदर इलेक्ट्रिक पंप लगाना था. इसके लिए इन्होंने पाइप तो सुरंग में उतार दी, लेकिन जब पानी ऊपर नहीं चढ़ा तो ये देखने के लिए टनल में घुस गए और यह हादसा हो गया. हादसे की जानकारी होने पर टनल का काम कर रहे ठेकेदार के हाथ पांव फूल गए. उसने तुरंत मामले की जानकारी पुलिस और प्रशासनिक अफसरों को दी. इसके बाद मौके पर पहुंचे अधिकारियों ने बड़े बड़े क्रेन मंगाकर टनल के अंदर किसानों की तलाश शुरू कर दी है.