भारत में हार्ट अटैक के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं, युवा हो या बुजुर्ग हर कोई इसका शिकार हो रहा है। अभी हाल ही में हुए गरबा आयोजन के दौरान कई लोगों को दिल का दौरा पड़ने से मौत हो गई। ऐसे में कई लोगों के मन में यह सवाल उठ रहा था कि क्या हार्ट अटैक का संबंध कोरोना महामारी से है?
स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया ने इस सवाल का जवाब दिया है और हार्ट अटैक का कारण और इससे बचने का उपाय बताया है।
इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च के अनुसार
मनसुख मंडाविया ने रविवार को इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR)) के एक अध्ययन का हवाला देते हुए कहा कि जो लोग गंभीर रूप से कोविड-19 से पीड़ित थे, उन्हें हार्ट अटैक से बचने के लिए कम से कम 1-2 साल तक कड़ी मेहनत करने से बचना चाहिए। अभी हाल ही में गुजरात में दिल का दौरा पड़ने से कई मौतें हुईं, इसके बाद राज्य के स्वास्थ्य मंत्री हृषिकेश पटेल ने ‘हृदय रोग विशेषज्ञों’ समेत चिकित्सा विशेषज्ञों के साथ बैठक की। पटेल ने विशेषज्ञों से कारणों और उपचार का पता लगाने के लिए मृत्यु डेटा एकत्र करने को कहा।
दिल का दौरा पड़ने के कारण और उससे बचने के उपाय
संवाददाताओं से बात करते हुए मनसुख मंडाविया ने कहा कि आईसीएमआर (ICMR) ने एक अध्ययन किया है। इस अध्ययन के अनुसार , जो लोग पहले कोविड-19 (COVID-19) संक्रमण से पीड़ित हो चुके हैं, उन्हें ज्यादा मेहनत नहीं करनी चाहिए। जैसे- उन्हें दिल के दौरे से बचने के लिए 1-2 साल तक दौड़ने, कठोर व्यायाम और वर्कआउट करने से बचना चाहिए। उत्तर प्रदेश की राज्यपाल और गुजरात की पूर्व मुख्यमंत्री आनंदीबेन पटेल ने हाल ही में अपने राज्य दौरे के दौरान इस मुद्दे पर चिंता व्यक्त की थी।