बोर्ड परीक्षाएं शुरू हो चुकी हैं. फिलहाल सीबीएसई बोर्ड, बिहार बोर्ड, एमपी बोर्ड, ओडिशा बोर्ड, बंगाल बोर्ड सहित कई स्टेट बोर्ड की 10वीं, 12वीं की परीक्षाएं चल रही हैं. इसी बीच केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने एक बार फिर यह ऐलान किया है बोर्ड परीक्षाएं साल में दो बार आयोजित की जाएंगी. छत्तीसगढ़ में एक समारोह के दौरान धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि अगले शैक्षणिक सत्र यानी 2025-26 से छात्रों को साल में दो बार 10वीं और 12वीं कक्षा की बोर्ड परीक्षाओं में शामिल होने का विकल्प मिलेगा. उन्होंने यह साफ कर दिया कि इस साल से बोर्ड परीक्षाएं जैसे होती हैं, वैसी ही होंगी, लेकिन अगले सत्र से कक्षा 10वीं और 12वीं के छात्रों को साल में दो बार बोर्ड परीक्षा देने का मौका मिलेगा. इससे छात्रों के मन में बोर्ड परीक्षा के डर और उत्पन्न तनाव को कम करने में मदद मिलेगी. साथ ही छात्र अपने सर्वोत्तम अंक को अपने पास रख सकेंगे.
छात्र का सर्वोत्तम स्कोर
केंद्रीय मंत्री के इस बयान से उन छात्रों और अभिभावक को बड़ी राहत मिली है, जो बोर्ड परीक्षा के साल में दो बार होने की घोषणा के बाद से कंफ्यूज थे. उन्हें समझ नहीं आ रहा था कि साल में दो बार बोर्ड परीक्षा का नियम इस साल से लागू होगा या फिर अगले साल से. लेकिन धर्मेंद्र प्रधान के यह साफ हो गया है कि जो बच्चे अगले साल 10वीं या 12वीं बोर्ड की परीक्षाएं देंगे, उन्हें दो बार बोर्ड देने का मौका मिलेगा. दोनों ही बोर्ड में जिसमें छात्र का सर्वोत्तम स्कोर होगा, वही मान्य होगा.
तनाव होगा कम
धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि छात्रों को साल में दो बार बोर्ड परीक्षा में शामिल होने का विकल्प, नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति (NEP 2020) के उद्देश्यों के तहत किया गया है, जिसका मुख्य उद्देश्य छात्रों पर शैक्षणिक तनाव को कम करना है. एनईपी 2020 केंद्र सरकार की योजना है. बता दें कि पिछले साल अगस्त में शिक्षा मंत्रालय की ओर से साल में दो बार बोर्ड परीक्षा आयोजित करने की बात कही गई थी. मंत्रालय ने कहा था कि ऐसा न्यू कैरिकुलम फ्रेमवर्क (NCF) के तहत किया जा रहा है. एनसीएफ के तहत छात्रों को अच्छा प्रदर्शन करने के लिए पर्याप्त समय और अवसर सुनिश्चित करने के लिए बोर्ड परीक्षाएं साल में कम से कम दो बार आयोजित की जाएंगी.