IIT दिल्ली में छात्र की रहस्यमयी मौत – अब तक की पूरी जानकारी
घटना कब और कहां हुई?
- दिनांक: मंगलवार, 4 जून 2025
- स्थान: IIT दिल्ली का हॉस्टल, थाना क्षेत्र किशनगढ़
- मृतक छात्र: बायोमैकेनिकल इंजीनियरिंग, द्वितीय वर्ष का छात्र
- पहचान: नाम अभी पुलिस ने सार्वजनिक नहीं किया है
घटना की सिलसिलेवार जानकारी:
- दरवाजा बंद और कोई जवाब नहीं मिलने पर शक हुआ:
छात्र का कमरा 3 जून से बंद था और वह न किसी दोस्त से मिला, न ही किसी क्लास में गया। - PCR कॉल और रेस्क्यू:
हॉस्टल वॉर्डन और छात्रों ने सुरक्षा टीम के जरिए PCR कॉल की।
किशनगढ़ थाना पुलिस और फायर डिपार्टमेंट ने मौके पर पहुंचकर दरवाजा तोड़ा। - कमरे के अंदर की स्थिति:
छात्र बेड पर बेहोशी की हालत में पड़ा मिला।
मौके पर IIT के डॉक्टर ने मृत घोषित कर दिया। - शरीर पर बाहरी चोट के कोई निशान नहीं:
लेकिन कमरे में उल्टी के निशान थे — इससे संभावना है कि छात्र की स्वास्थ्य संबंधी समस्या हो सकती है (जैसे फूड प्वाइजनिंग, नशा, दवा का रिएक्शन आदि)।
पुलिस और फॉरेंसिक जांच:
जांच पहलू | विवरण |
---|---|
क्राइम टीम की जांच | कमरे के सभी पहलुओं की छानबीन, कोई सुसाइड नोट नहीं मिला |
फॉरेंसिक टीम | उल्टी, बिस्तर, खाने-पीने की चीजों के नमूने लिए गए |
पोस्टमार्टम | शव को सफदरजंग अस्पताल की मोर्चरी में भेजा गया |
परिवार को सूचना | छात्र के परिजनों को सूचना दे दी गई है |
संभावित कारण (प्रारंभिक अनुमान):
- स्वास्थ्य समस्या: जैसे हार्ट अटैक, मिर्गी का दौरा, एलर्जी आदि
- फूड प्वाइजनिंग: उल्टी के निशान इस ओर इशारा करते हैं
- दवा या नशे से जुड़ी घटना: यह जांच के बाद स्पष्ट होगा
- मानसिक स्वास्थ्य/स्ट्रेस: IITs में छात्रों पर अत्यधिक अकादमिक और सामाजिक दबाव रहता है, लेकिन अभी तक कोई सुसाइड नोट नहीं मिला, जिससे यह संभावना कम लग रही है
बड़ा सवाल – IITs में मेंटल हेल्थ सपोर्ट कितना मजबूत है?
IIT जैसे संस्थानों में:
- हाई-परफॉर्मेंस कल्चर
- एकेडमिक प्रेशर
- होमसिकनेस और अकेलापन
- कम सोशल इंटरैक्शन
यह सभी कारण कई बार छात्रों को मानसिक और शारीरिक रूप से प्रभावित करते हैं।
पिछले वर्षों में भी IITs और अन्य प्रतिष्ठित संस्थानों में छात्रों की आत्महत्याओं या रहस्यमयी मौतों के मामले सामने आते रहे हैं।
आगे क्या हो सकता है?
- पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद ही मौत का सही कारण सामने आएगा
- यदि कोई टॉक्सिक पदार्थ, दवा, या अन्य कारण मिलता है, तो जांच की दिशा उसी ओर जाएगी
- IIT प्रशासन को भी एक आंतरिक जांच समिति बनानी चाहिए
निष्कर्ष:
इस दुखद घटना ने एक बार फिर सवाल उठाया है कि:
- क्या हमारे उच्च शिक्षण संस्थानों में मेंटल हेल्थ और वेलनेस सिस्टम पर्याप्त हैं?
- क्या छात्रों की नियमित स्वास्थ्य जांच होनी चाहिए?
- क्या हॉस्टल व्यवस्थाओं में और सतर्कता बरतने की जरूरत है?
जब तक अंतिम रिपोर्ट नहीं आ जाती, कई अनुमान लगाना अनुचित होगा, लेकिन यह निश्चित है कि यह घटना केवल एक छात्र की मौत नहीं, पूरे सिस्टम के आत्ममंथन का अवसर है।