गुरु और पंथ की सेवा में सम्पूर्ण जीवन समर्पित करने वाले सचखंड श्री दरबार साहिब के पूर्व मुख्य ग्रंथी ज्ञानी जगतार सिंह जी का रविवार शाम निधन हो गया। ज्ञानी जगतार सिंह ने अपने निवास अंतरजामी कॉलोनी तरनतारन रोड, अमृतसर में अंतिम सांस ली। उनके बेटे नारायण सिंह ने यह दुखद जानकारी दी। उन्होंने बताया कि शाम करीब 6 बजे उन्हें दिल का दौरा पड़ा था। ज्ञानी जगतार सिंह का अंतिम संस्कार 28 अगस्त को गुरुद्वारा शहीदां साहिब के सामने श्मशान घाट पर किया जाएगा। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ ने उनके निधन पर गहरा दुख जताया और शोक संवेदना व्यक्त की।
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सरकार्यवाह दत्तात्रेय होसबाले जी ने शोक संदेश में कहा कि गुरु और पंथ की सेवा में सम्पूर्ण जीवन समर्पित करने वाले सचखंड श्री दरबार साहिब के पूर्व मुख्य ग्रंथी ज्ञानी जगतार सिंह जी के निधन का समाचार पाकर अतीव दुःख हुआ। ज्ञानी जगतार सिंह जी ने अखंड पाठी व ग्रंथी के नाते कई वर्ष सेवा निभाने के बाद श्री दरबार साहिब के मुख्य ग्रंथी के रूप में गुरु और पंथ की अपार सेवा की। ज्ञानी जी का सम्पूर्ण जीवन गुरु और पंथ की सेवा में समर्पित रहा जो हम सबके लिए अनुकरणीय है। उनकी पवित्र जोत अखण्ड ज्योति में समा गई। गुरु महाराज जी दिवंगत आत्मा को अपने श्रीचरणों में स्थान दें और परिवारजनों को दुःख सहन करने की शक्ति प्रदान करें, हम ऐसी प्रार्थना करते हैं।