…एक महत्वपूर्ण और सामरिक रूप से बेहद अहम अतिरिक्त शक्ति होगी। INS तमाल एक ताकतवर गश्ती युद्धपोत है जो भारत और रूस के बीच हुए रणनीतिक रक्षा सहयोग का हिस्सा है। यह युद्धपोत भारतीय नौसेना को हिंद महासागर क्षेत्र में निगरानी, तटीय सुरक्षा, समुद्री डकैती, तस्करी और आपदा राहत जैसे अभियानों में अत्याधुनिक क्षमताएं प्रदान करेगा।
INS तमाल की खास विशेषताएं:
- मल्टी-रोल कैपेबिलिटी: यह युद्धपोत सतह से सतह, सतह से हवा में और पनडुब्बी रोधी युद्ध अभियानों के लिए सुसज्जित है।
- हथियार प्रणाली: इसमें मिसाइल सिस्टम, गन सिस्टम और इलेक्ट्रॉनिक वॉरफेयर सिस्टम जैसे अत्याधुनिक हथियार शामिल हैं।
- गति और रेंज: इसकी हाई-स्पीड और लंबी समुद्री गश्ती क्षमता से यह बड़े ऑपरेशनल एरिया को कवर कर सकता है।
- एविएशन सपोर्ट: इसमें हेलीकॉप्टर ऑपरेशन की सुविधा भी है, जिससे यह हवाई निगरानी और रेस्क्यू मिशनों में भी मददगार होगा।
- रडार और सेंसर सिस्टम: उन्नत रडार, सोनार और इलेक्ट्रॉनिक इंटेलिजेंस प्रणाली से यह जहाज दुश्मन की गतिविधियों को पहले से भांपने में सक्षम है।
कुल मिलाकर, वर्ष 2025 भारतीय नौसेना के लिए क्यों ऐतिहासिक होगा?
इस वर्ष भारतीय नौसेना के बेड़े में शामिल होने वाले 9 नए योद्धा—प्रोजेक्ट 17A फ्रिगेट्स, डाइविंग सपोर्ट वेसल्स, सर्वे वेसल, शैलो वॉटर क्राफ्ट्स, और INS तमाल—देश की समुद्री ताकत को एक नई ऊंचाई पर पहुंचाएंगे। ये सभी जहाज भारतीय रक्षा उद्योग की आत्मनिर्भरता, तकनीकी दक्षता और समुद्री रणनीतिक गहराई को दर्शाते हैं।
ये नौसेना प्लेटफॉर्म भारत को न केवल चीन और पाकिस्तान जैसी चुनौतियों के सामने बेहतर तरीके से खड़ा करेंगे, बल्कि हिंद महासागर में भारत की स्थिति को एक ‘नेट सिक्योरिटी प्रोवाइडर’ के रूप में भी मज़बूत करेंगे। यह साल वास्तव में ‘समंदर में गरजते भारत’ का प्रतीक बन रहा है।