समाज के अंतिम छोर पर खड़े व्यक्ति तक सरकार की जनकल्याणकारी योजनाओं का लाभ पहुँच सके और जो किन्ही कारणों से इन योजनाओं के लाभ से वंचित रह गए हों, उन्हें उसका लाभ देने के मकसद से विकसित भारत संकल्प यात्रा की शुरुआत की गई है।
देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने बीते 15 नवंबर को जनजातीय गौरव दिवस पर झारखंड के खूंटी से विकसित भारत संकल्प यात्रा की शुरुआत की थी। उसी दिन उत्तराखंड के दो जनजातीय जिले देहरादून और उद्यमसिंह नगर से जनजातीय क्षेत्रों के लिए विकसित भारत संकल्प यात्रा को रवाना किया गया। देहरादून राजभवन से यात्रा को राज्यपाल ले0ज0 गुरमीत सिंह (से0नि) ने हरी झंडी दिखाकर रवाना किया। इसके बाद 23 नवंबर को संकल्प यात्रा को उत्तराखंड के ग्रामीण क्षेत्रों और 28 नवंबर को शहरी क्षेत्रों के लिए रवाना किया गया।
जनवरी 2024 तक चलने वाली विकसित भारत संकल्प यात्रा में ग्रामीण क्षत्रों में 200 से ज्यादा वाहन लगभग 7797 ग्राम पंचायतों तक सरकारी योजनाओं का प्रचार-प्रसार करेंगे । इनमें गढ़वाल परिक्षेत्र की 4380 ग्राम पंचायतें और कुमाऊं की 3415 पंचायतें शामिल हैं। शहरी क्षेत्रों में पांच वाहन विकसित भारत संकल्प यात्रा लेकर लगभग 186 स्थानों पर पहुंचेगे। इनमें गढ़वाल परिक्षेत्र के 108 स्थान और कुमाऊं परिक्षेत्र के 78 स्थान चिन्हित किए गए हैं। अभी मात्र देहरादून क्षेत्र में शहरी विकसित भारत संकल्प यात्रा चल रही है। नैनीताल में 14 दिसंबर को एक वाहन को शहरी क्षेत्रों के लिए रवाना किया गया है।
15 नवंबर को उत्तराखंड में शुरू हुई विकसित भारत संकल्प यात्रा एक महीने में 409258 लोगों तक पहुंची है। इनमें 377199 ग्रामीण और 32059 शहरी लोगों तक ये यात्रा पहुंची है। इस यात्रा की खास बात ये है कि ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में जहां भी यात्रा अपना पड़ाव लगा रही है, वहां महिलाओं की भागीदारी पुरूषों से ज्यादा है। विकसित भारत संकल्प यात्रा का लक्ष्य है कि जो लोग जनकल्याणकारी योजनाओं से वंचित रह गए हैं, उन्हें मौके पर ही इन योजनाओं से जोड़कर उसका लाभ पहुंचाया जाए।
इसी कड़ी में एक महीने में विकसित भारत संकल्प यात्रा प्रदेश की 3841 ग्राम पंचायतों और शहरी क्षेत्रों के 33 स्थानों तक पहुंची है। इस दौरान संकल्प यात्रा में 3841 ग्राम पंचायतों और शहरी क्षेत्रों में 78564 लोगों ने मुफ्त स्वास्थ्य शिविरों में अपना चेक अप करवाया और इन्हें मुफ्त दवाइयां भी इस दौरान वितरित की गई। ग्रामीण क्षेत्रों में आयोजित इन मुफ्त स्वास्थ्य शिविरों में एक महीने में 42061 लोगों में टीबी की और 11179 लोगों में सिकल सेल एनिमिया की मुफ्त जांच की गई।
एक महीने की इस यात्रा में प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना में ग्रामीण क्षेत्रों की 4789 महिलाओं का पंजीकरण कर उन्हें इस योजना से जोड़ा गया। शहरी क्षेत्रों में 911 महिलाओं को उज्ज्वला योजना का लाभ यात्रा के दौरान लगे शिविरों में प्रदान किया गया। पांच लाख तक मुफ्त इलाज प्रदान करने वाली प्रधानमंत्री आयुष्मान योजना के अंतर्गत ग्रामीण क्षेत्रों में 9653 और शहरी क्षेत्रों में 653 से ज्यादा आयुष्मान कार्ड यात्रा में लगे शिविरों में जारी किए गए। एक महीने में विकसित भारत संकल्प यात्रा में आए विभिन्न योजनाओं के 7500 से ज्यादा लाभार्थियों ने योजनाओं से मिल रहे लाभ के अनुभव ‘मेरी कहानी मेरी जुबानी’ के अंतर्गत सांझा किए। विकसित भारत संकल्प यात्रा जिस भी ग्राम पंचायत या शहरी क्षेत्र में पड़ाव डालती है, वहां लोग भारत को 2047 तक विकसित राष्ट्र बनाने की शपथ लेते हैं। अभी तक 2,88,475 लोग यात्रा के दौरान विकसित भारत शपथ ले चुके हैं। ग्रामीण क्षेत्रों में कैसे ड्रोन के माध्यम से उन्नत खेती की जा सकती है, इसका डेमो किसानों को दिया जा रहा है, जिससे वह लाभांवित हो सकें। अभी तक 924 ग्राम पंचायतों में किसानों को उन्नत खेती के लिए ड्रोन डेमो दिए जा चुके हैं। प्रदेश में लगभग जनवरी तक चलने वाली इस यात्रा में आने वाले दिनों में कई लाख लोग लाभांवित होंगे और इससे जुड़कर योजनाओं के बारे में जान सकेंगे और उसका लाभ ले सकेंगे।
नोडल अधिकारी रणवीर सिंह चौहान
उत्तराखंड में भारत संकल्प यात्रा के नोडल अधिकारी रणवीर सिंह चौहान ने बताया कि सुदूर ग्रामीण क्षेत्रों तक पहुंच रही इस यात्रा के साथ रोजाना हजारों लोग जुड़ रहे है, लोगो को सरकार की योजनाओं की व्यापक जानकारी मिल रही है और जिन्हे जिस योजना की आवश्कता है उन्हे इस बारे में विस्तृत जानकारी दे कर उनका पंजीकरण कराया जा रहा है।