कनाडा के प्रधानमंत्री मार्क कार्नी द्वारा अमेरिका के प्रस्तावित ‘गोल्डन डोम’ मिसाइल रक्षा कार्यक्रम में शामिल होने की इच्छा जताना रणनीतिक, सैन्य और भू-राजनीतिक दृष्टि से अत्यंत महत्वपूर्ण है।
‘गोल्डन डोम’ प्रणाली क्या है?
यह अमेरिका द्वारा विकसित की जा रही एक बहुस्तरीय (multi-layered) मिसाइल रक्षा प्रणाली है, जिसकी प्रमुख विशेषताएँ हैं:
चार-चरणीय रक्षा प्रणाली:
- Pre-launch Detection – दुश्मन की मिसाइल दागे जाने से पहले ही उसका पता लगाकर कार्रवाई।
- Boost Phase Interception – मिसाइल की शुरुआती उड़ान के दौरान उसे नष्ट करना।
- Mid-course Interception – उड़ान के मध्य में, वातावरण से बाहर, मिसाइल को नष्ट करना।
- Terminal Phase Interception – जब मिसाइल लक्ष्य तक पहुँचने ही वाली हो, अंतिम रक्षा के रूप में उसे रोकना।
तकनीकी विशेषताएँ:
- अंतरिक्ष आधारित रडार और लेजर प्रणाली
- जमीन आधारित इंटरसेप्टर मिसाइलें
- AI-सक्षम ट्रैकिंग और डिसिजन सेंटर
- अनुमानित लागत: $175 अरब अमेरिकी डॉलर
- क्रियान्वयन लक्ष्य वर्ष: 2029 (ट्रंप के संभावित दूसरे कार्यकाल का अंतिम वर्ष)
कनाडा की भागीदारी: रणनीतिक विश्लेषण
राष्ट्रीय सुरक्षा की आवश्यकता:
- प्रधानमंत्री कार्नी ने स्पष्ट किया कि यह निर्णय कनाडाई नागरिकों की रक्षा हेतु आवश्यक है।
- रूस, चीन और उत्तर कोरिया जैसे देशों के लॉन्ग-रेंज मिसाइल क्षमताओं को देखते हुए उत्तर अमेरिका को अब साझा रक्षा कवच की आवश्यकता है।
ट्रंप-कार्नी संवाद:
- अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने पुष्टि की कि कनाडा ने औपचारिक रुचि जताई है।
- द्विपक्षीय वार्ता उच्च-स्तरीय अधिकारियों के बीच प्रगति पर है।
कनाडा की भौगोलिक भूमिका:
- कनाडा की भौगोलिक स्थिति अमेरिका और आर्कटिक के बीच एक “ढाल” की तरह है।
- उत्तर से आने वाली मिसाइलें पहले कनाडाई वायु क्षेत्र में प्रवेश करेंगी — इसलिए रडार और इंटरसेप्टर बेस के लिए कनाडा की भूमि रणनीतिक रूप से महत्वपूर्ण है।
भू-राजनीतिक प्रभाव:
- NORAD (North American Aerospace Defense Command) के ढांचे में विस्तार होगा।
- कनाडा की पारंपरिक “न्यूट्रल” सैन्य नीति में परिवर्तन — यह एक अधिक आक्रामक रक्षा दृष्टिकोण है।
- अमेरिका और कनाडा की सामूहिक स्पेस डिफेंस रणनीति के लिए यह एक नया अध्याय हो सकता है।
- चीन और रूस इस निर्णय को नकारात्मक रूप से देख सकते हैं और यह क्षेत्रीय शक्ति संतुलन को प्रभावित कर सकता है।
कनाडा द्वारा ‘गोल्डन डोम’ में शामिल होने का निर्णय केवल एक तकनीकी या सैन्य कदम नहीं है, बल्कि यह एक भविष्य-दृष्टिपूर्ण रणनीतिक भागीदारी है जो अमेरिका-कनाडा रक्षा संबंधों को नए स्तर पर ले जाएगी। यह सहयोग उत्तर अमेरिका की सामूहिक मिसाइल रक्षा क्षमताओं को वैश्विक स्तर पर अग्रणी बना सकता है।