देश की राजधानी दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल पिछले एक महीने से भी ज्यादा वक्त से जेल में बंद हैं. प्रवर्तन निदेशालय (ED) की टीम ने लंबी पूछताछ के बाद उन्हें गिरफ्तार किया था. वह फिलहाल तिहाड़ जेल में बंद हैं. अरविंद केजरीवाल ने ED द्वारा की गई अपनी गिरफ्तारी की वैधता को कोर्ट में चुनौती दी है. ट्रायल कोर्ट और दिल्ली हाईकोर्ट से राहत नहीं मिलने पर उन्होंने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की है. इन सबके बीच केजरीवाल ने लोकसभा चुनाव में प्रचार के लिए फौरी राहत देने की मांग की थी. शीर्ष अदालत में उनकी इस मांग पर सुनवाई चली. सुप्रीम कोर्ट सीएम अरविंद केजरीवाल की अंतरिम जमानत पर आज फैसला सुना सकता है. बता दें कि दिल्ली में भी लोकसभा की 7 सीटों के लिए मतदान होना है. अरविंद केजरीवाल की आम आदमी पार्टी (AAP) भी चुनाव मैदान में है.
सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को इस संबंध में सुनवाई पूरी कर फ़ैसला सुरक्षित रख लिया था. ED ने गुरुवार को हलफ़नामा दाखिल कर अंतरिम राहत देने का ज़ोरदार विरोध किया, तो CM अरविंद केजरीवाल की लीगल टीम ने सुनवाई पूरी होने के बाद हलफ़नामा दाखिल करने को ग़लत बताया है. वहीं, गुरुवार को ED ने सुप्रीम कोर्ट में हलफ़नामा दाखिल कर दिल्ली CM को अंतरिम ज़मानत देने का ज़ोरदार विरोध किया. ED ने हलफ़नामे में कहा कि चुनाव प्रचार के लिए अंतरिम ज़मानत देना ठीक नहीं होगा. चुनाव प्रचार के लिए अंतरिम ज़मानत देना न तो संवैधानिक और न ही मौलिक अधिकार और न ही क़ानूनी अधिकार है. जांच एजेंसी ने अपने हलफनामे में कहा कि दिल्ली के CM अरविंद केजरीवाल तो तो चुनाव भी नहीं लड़ रहे हैं.
ED ने किया है अंतरिम जमानत का विरोध
ED ने अरविंद केजरीवाल को अंतरिम जमानत देने का पुरजोर विरोध किया है. जांच एजेंसी ने कहा कि चुनाव लड़ने के लिए भी अंतरिम ज़मानत नहीं दी जा सकती है. ED के मुताबिक़ किसी भी राजनेता को आम आदमी से अधिक अधिकार नहीं मिल सकता है. PMLA (मनी लॉड्रिंग रोकथाम कानून) के तहत कई नेता जेल में हैं, यदि अरविंद केजरीवाल को इस तरह से जमानत दी गई तो वे सब भी इसी कारण अंतरिम ज़मानत मांगने लगेंगे. चुनाव प्रचार के लिए आज तक किसी राजनेता को अंतरिम जमानत नहीं दी गई है. चुनाव प्रचार के लिए अंतरिम जमानत देना एक ऐसा उदाहरण पेश करेगा जिसके तहत नेता गुनाह करके चुनाव की आड़ में जांच से बचने की कोशिश करेंगे.
अरविंद केजरीवाल का विरोध
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने ईडी की ओर से सुप्रीम कोर्ट में दाखिल हलफनामे का विरोध किया है. CM की लीगल टीम ने ED द्वारा हलफ़नामा दाखिल करने पर विरोध दर्ज कराते हुए इस बाबत सुप्रीम कोर्ट रजिस्ट्रार के पास शिकायत की है. उनका कहना है कि यह क़ानूनी प्रक्रिया के ख़िलाफ़ है. जांच एजेंसी की ओर से यह हलफनामा सुप्रीम कोर्ट की अनुमति के बिना दाखिल किया गया है.
किस मामले में गिरफ्तार किए गए अरविंद केजरीवाल?
आम आदमी पार्टी के नेताओं पर आरोप हैं कि उन्होंने दिल्ली शराब नीति के जरिए कुछ लोगों को फायदा पहुंचाने के इरादे से साजिशन काम किया. इन नेताओं में मुख्यमंत्री केजरीवाल, पूर्व डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया के नाम भी शामिल हैं. केजरीवाल को इस मामले में 21 मार्च को गिरफ्तार किया गया और वो फिलहाल दिल्ली के तिहाड़ जेल में बंद हैं.